तबलीगी जमात प्रमुख मौलाना साद से क्राइम ब्रांच ने पूछे 26 सवाल

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देश में कोरोनावायरस के बढ़ते प्रकोप के बीच दिल्ली के निमाजुद्दीन में स्थित मरकज में तबलीगी जमात की ओर से धार्मिक कार्यक्रम का आयोजन करवाया गया। इसमें देश-विदेश से करीब तीन हजार लोग शामिल हुए थे। लॉकडाउन के ऐलान के बाद भी करीब 2 हजार लोग इसी मरकज में रुके हुए थे। उनमें से कई लोगों को कोरोना के लक्षण पाए जाने के बाद उन्हें वहां से निकाला गया और अलग-अलग अस्पतालों में भर्ती कराकर जांच करवाई गई।. जांच में सैंकड़ों लोगों को कोरोना से संक्रमित पाया गया है। वहीं, इस कार्यक्रम में शामिल होने वाले लोगों की देश के अलग-अलग हिस्सों में पहचान की जा रही है और उनकी जांच करवाई जा रही है। वहीं, कार्यक्रम में शामिल होने वाले लोगों क्वारंटाइन कर दिया गया है। मरकज के प्रमुख मौलाना मोहम्मद साद फरार हो गया है। दिल्ली पुलिस ने उसके खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है। 3 अप्रैल 2020 को दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने मौलाना के खिलाफ नोटिस जारी करके, उससे 26 सवालों के जवाब पूछे हैं.



इन सवालों के मांगे गए जवाब-
1- संस्था का पूरा नाम और पंजीकरण का पूरा ब्यौरा
2- पदाधिकारियों की जानकारी
3- मरकज कमेटी में शामिल लोगों की जानकारी
4- संस्था की ओर से पिछले तीन साल में भरे गए आयकर की जानकारी
5-  संस्था का पैन नंबर, बैंक अकाउंट और बैंक स्टेटमेंट
6 - संस्था के साथ काम करने वाले कर्मचारियों की लिस्ट
7- 1 जनवरी से अब तक आयोजित धार्मिक सभाओं की संख्या
8- परिसर का नक्शा या साइट प्लान
9- परिसर में सीसीटीवी कैमरे हैं तो उनकी संख्या
10- क्या आपने किसी से मंजूरी ली थी
11- क्या आपको किसी भी अथॉरिटी की ओर से धार्मिक समारोह आयोजित करने के लिए लिखित दिशानिर्देश जारी किए थे
12- प्रशासन और प्रबंधन के बीच कोई और पत्राचार का ब्यौरा
13- मरकज में शामिल होने वाले लोगों की ऑडियो या वीडियो का ब्यौरा
14- 12 मार्च के बाद विदेशियां सहित आने वाले श्रद्धालुओं की लिस्ट
15- 12 मार्च के बाद समारोह में शामिल होने वाले लोगों के रिकॉर्ड का रजिस्टर
16- क्या कोई श्रद्धालु बीमार पड़ा था
17- इमारत खाली कराने के लिए मरकज की ओर से उठाए गए कदम
18- लॉकडाउन लगने के बाद प्रबंधन की ओर से उठाए गए कदमों की जानकारी
19- कर्मचारी, वॉलियंटर और पार्किंग वालों की लिस्ट
20- 12 मार्च के बाद आमंत्रितों की तारीख वार सूची
21- 12 मार्च के बाद जिन्हें अस्पताल ले जाया गया उनकी तारीखवार सूची
22- 12 मार्च के बाद मस्जिदों या अन्य स्थानों पर ले जाने वाले की तारीखवार की सूची
23- मरकज में शामिल होने और उसके बाद मरने वाले लोगों का ब्यौरा
24 - किसी को भी जारी किए गए कर्फ्यू पास का ब्यौरा
25 - 12 मार्च के बाद मरकज में आने वाले किसी भी सरकारी एजेंसी के लोगों का ब्यौरा
26- कोई भी ऐसे कागजात जो जांच में सहयोग कर सकें




जानें क्या है तब्लीगी जमात?
–तबलीगी जमात भारतीय उपमहाद्वीप में सुन्नी मुसलमानों का सबसे बड़ा संगठन है।
–तबलीगी जमात के पूर्व अमीर मौलाना जुबैर उल हसन ने संगठन का नेतृत्व करने के लिए के सुरू कमेटी का गठन किया था।
–जमात एक समूह को कहते हैं, जिसमें पांच से ज्यादा लोग शामिल होते हैं। जमात की अवधि तीन दिन से शुरू होती है और 40 दिन और चार महीने से लेकर पांच माह तक की होती है।
–जमात के लोग इस अवधि के लिए एक क्षेत्र को चिन्हित करते हैं, इसके बाद वहां की मस्जिदों में दो से तीन दिन रुककर इस्लाम कर प्रचार करते हैं। इसके बाद दूसरी मस्जिद का रुख करते है।
–40 दिन, चार और पांच माह की जमात की समय अवधि जब पूरी होती है तो वह तब्लीगी मरकज जाते हैं। पांच माह की जमात विश्व के कई देशों में जाती हैं।



कौन हैं तब्लीगी जमात के 'अमीर' मौलाना साद?
–मौलाना साद का जन्म दिल्ली में 10 मई, 1965 में हुआ और उनके पिता का नाम मोहम्मद हारून है।
–मौलाना साद का पूरा नाम मुहम्मद साद कंधालवी है।
–वर्ष, 1927 में मौलाना साद के परदादा मौलाना इलियास कांधलवी ने तबलीगी जमात की स्थापना की थी।
–मौलाना इलियास कंधालवी उत्तर प्रदेश के शामली जिले के कांधला के रहने वाले थे। यही वजह थी कि वह अपने नाम के आगे कांधलवी लगाते थे।
–साद कंधालवी ने हजरत निजामुद्दीन मरकज के मदरसा काशिफुल उलूम से 1987 में आलिम की डिग्री ली है।
–साद तब्लीगी जमात के संस्थापक के पड़पोते हैं।
–मौलाना साद खुद को तब्लीगी जमात के एकछत्र अमीर घोषित कर चुके हैं।
–1995 में बने तब्लीगी जमात के सर्वेसर्वा

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