क्रिकेट में अब हेलमेट पहनना हुआ अनिवार्य


अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट संघ (ICC) ने हेलमेट को लेकर एक नया नियम लागू किया है। अब अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में 1 फरवरी, 2017 से पुरुष और महिला क्रिकेटर्स दोनों के हेलमेट पहनना अनिवार्य कर दिया है। आईसीसी के इस नियम को सुरक्षा को सबसे ऊँचे स्तर पर रखने के लिए लागू किया गया है।




1 फरवरी के बाद, जो भी बल्लेबाज़ इस नियम का उलंघन करता हुए दिखेगा, उसे शुरू के दो मैचो के लिए चेतावनी दी जाएगी। जबकि उसके बाद भी अगर वो खिलाड़ी नियम का उलंघन करता हुआ पकड़ा गया, तो उसपर एक मैच का प्रतिबन्ध भी लगाया जा सकता है।

सनद रहे कि साल 2015 में आस्ट्रेलियाई क्रिकेटर फिलिप ह्यूज की मौत सिर में गेंद लगने से हो गई थी। शॉन एबॉट की गेंद उनके हेलमेट के पिछले हिस्से में जा टकराई थी, जिससे उन्हें असहनीय दर्द हुआ था और थोड़ी देर बाद उनकी मृत्यु हो गई थी। मौजूदा समय में जो हेलमेट इस्तेमाल किए जा रहे हैं उनमें पीछे की ओर सुरक्षित कवच नहीं है। इसी को ध्यान में रखते हुए आईसीसी ने नए प्रकार के हेलमेट बनाए हैं।

कैसे शुरू हुआ हेलमेट का प्रचलन? 
● मैदान में खतरनाक गेंदबाजी को लेकर चर्चा 1932-33 में एशेज सिरीज के दौरान भी की गई थी, जब इंग्लैंड के गेंदबाजों ने आस्ट्रेलिया के बल्लेबाजी के शरीर को निशान बनाते हुए शॉर्ट पिच गेंदों से उनका स्वागत किया था।
● बाद में 70 के डिकेड की शुरुआत में वेस्टइंडीज के गेंदबाजों की आग उगलती हुई गेंदों ने बल्लेबाजों को हेलमेट पहनने पर मजबूर कर दिया।
● क्रिकेट में हेलमेट का इस्तेमाल 1970 के बाद से धीरे-धीरे प्रचलन में आया।
● हेलमेट का इस्तेमाल पहली बार आस्ट्रेलियाई क्रिकेटर ग्राहल नील ने 1978 में वेस्टइंडीज के खिलाफ खेने जाने वाले मैच से पहले किया।
● इसके बाद यह हेलमेट क्रिकेट में बेहद लोकप्रिय हुआ और बाद में हेलमेट को दुनिया के ज्यादा से ज्यादा क्रिकेटर वरीयता देने लगे।
● क्रिकेट की शुरूआत में एक अलग तरह के हेलमेट का इस्तेमाल किया जाता था, जिनमें हवा आने जाने की जगह नहीं रहती थी जिसके कारण यह काफी गर्म हो जाता था और बल्लेबाज को दिक्कतों का सामना करना पड़ता था।
● बाद में इन हेलमेट्स को आधुनिक हेलमेट्स ने बदल दिया और इन हेलमेट्स का निर्माण ढले हुए प्लास्टिक व फाइबर से किया गया।
साथ ही हैलमेट को मजबूती देने के लिए दोनों कानों के करीब स्टील की तिल्लियां लगाई गई।
● सिर में हवा आने जाने के लिए पर्याप्त छिद्र बनाए गए।
● 1990 के बाद से हेलमेट को क्रिकेट में अनिवार्य कर दिया गया।