अ​ब प्रतियोगी परीक्षाओं की उत्तर पुस्तिका देख सकेंगे



प्रतियोगी प्रतियोगी परीक्षाओं में बैठने वाले परीक्षार्थी अब अपनी उत्तर पुस्तिका की प्रति और साक्षात्कार के अंक प्राप्त कर सकते हैं। सुप्रीम कोर्ट ने 4 फरवरी को अपने एक ऐतिहासिक फैसले में कहा है कि कोई भी परीक्षार्थी अपनी यूनिवर्सिटी, बोर्ड अथवा स्कूल से सूचना के अधिकार के तहत अपनी उत्तर पुस्तिका मांग सकता है। सुप्रीम कोर्ट का ये निर्णय प्रतियोगी अथवा भर्ती परीक्षाओं में भी लागू होगा और उनकी भी कॉपी आरटीआई एक्ट के तहत मांगी जा सकेंगी।

न्यायमूर्ति एमवाई इकबाल और न्यायमूर्ति अरुण मिश्रा की पीठ ने यह व्यवस्था इलाहाबाद हाईकोर्ट तथा केरल हाईकोर्ट के निर्णय को सही ठहराते हुए दी है। शीर्ष अदालत ने अपने फैसले में कहा कि उत्तर पुस्तिक की स्कैंड कॉपी और साक्षात्कार के अंक परीक्षार्थियों को मुहैया कराने से प्रति​योगी परीक्षाओं में पारदर्शिता आएगी।

याद रहे कि जुलाई 2015 में कोलकाता हाईकोर्ट ने एक मामले में फैसला सुनाया था कि छात्रों को आरटीआई एक्ट के तहत अपनी कॉपी मांगने का अधिकार है। इसके खिलाफ कई संस्थान सुप्रीम कोर्ट चले गए लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने हाईकोर्ट के निर्णय को बरकरार रखते हुए उनकी याचिकाएं खारिज कर दीं।

लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने केरल हाईकोर्ट के उस निर्णय को पलट दिया है, जिसमें उत्तर पुस्तिका की जांच करने वाले (परीक्षक) का नाम भी परीक्षार्थियों को बताने के लिए कहा गया था। अदालत ने साफ किया कि परीक्षक का नाम बताना संभव नहीं है। इससे परीक्षक पर खतरे की आशंका रहेगी और अफसल परीक्षार्थी भविष्य में होने वाली प्रतियोगी परीक्षाओं में अपने फायदे के लिए अनधिकृत तरीके से उनसे संपर्क कर सकते हैं।